WhatsApp Group Join Now

जब भी आपको गुस्सा आता है तो दरवाजा जोर से बंद कर देते हैं, मोबाइल फोन तोड़ देते हैं, बर्तन फेंक देते हैं।गुस्सा निकलता है इन बेजान चीजों पर है। बेजान चीजों पर गुस्सा निकालना एक नेचुरल रिएक्शन है। जिससे कुछ पल के लिए हमें शांति मिल सकती है या कुछ पल के लिए हम बातों को भूल जाते है। सांइस ने भी माना है कि गुस्से में दरवाजा जोर से बंद करना एक युनिवर्सल प्राब्लम है।

दरवाजा पटकना है वेंटिग इफैक्ट

कई वैज्ञानिकों का मानना है कि जब हम किसी चीज का गुस्सा निकालने के लिए दरवाजा जोर से मारते हैं तो ये वेंटिग इफैक्ट है। ऐसा करने से इंसान का गुस्सा कम हो जाता है। इसकी वजह एक और भी है जैसे ही हम एक कमरा छोड़कर दूसरे कमरे में जाते हैं तो इमोशन हल्के पड़ जाते हैं।

दरवाजा पटकने के पीछे करता है मनोविज्ञान काम

मनोवैज्ञानिकों का मानना है कि जब भी हम गुस्से में दरवाजा पटकते है तो हमें लगता है कि थोड़ी सी शांति हमें मिली है पर वास्तव में इसके पीछे भी हमारा मनोविज्ञान काम करता है।  सांइस का कहना है कि जब भी हम एक कमरे को छोड़कर दूसरे कमरे के दरवाजे में प्रवेश करते है तो कुछ पल के लिए पुरानी चीजें भूल जाते हैं। मनोवैज्ञानिक इसे डोर इफैक्ट या थ्रेसहोल्ड थ्योरी कहते हैं। इसी वजह से तनाव ग्रसित इंसान को कई बार हवा पानी बदलने के लिए कहा जाता है।

आवाज से दिमाग होता है संतुलित

जब हम किसी बात पर गुस्सा होते हैं तो हम में कुछ सोचने-समझने की क्षमता नहीं रहती। हम अपनी गलती को कभी स्वीकार नहीं करते और किसी दूसरे की बात भी नहीं सुनते। गुस्से में हमारा दिमाग का संतुलन बिगड़ने लगता है। कई वैज्ञानिकों ने गुस्से में दरवाजा क्यों पटकते है विषय पर अध्ययन किया है। वैज्ञानिकों का मानना है कि जब जोर से दरवाजा पीटकर बंद करते है तो दरवाजे की आवाज से हमारा दिमाग शांत हो जाता है और वापस से सोचने समझने वाली सिचुएशन में आ जाता है। दिमाग संतुलित होने के बाद इंसान को सही गलत में फर्क नजर आता है और अपनी गलती का भी पता लग जाता है।

.ये भी पढ़े- आपका बर्ताव भी बच्चों पर डाल सकता है बुरा असर, ऐसे में ये बातें करेंगी आपकी मदद

गुस्सा आने पर कैसे करते हैं शांत लोगों की राय

रानी ने बताया है कि उसके साथ ये कई बार हुआ जब भी वो किसी बात पर गुस्सा होती है तो वो दूसरे कमरे में चली जाती है। उन्होंने बताया कि दूसरे कमरे में जाने के बाद मैं वहां लगी पेटिंग्स या सामान की तरफ देखने लगती हूं तो मेरा गुस्सा शांत हो जाता है। 

रीतु ने बताया है कि गुस्सा आना स्वाभाविक है आपको छोटी-छोटी बातों पर गुस्सा आ सकता है। आपके पास अपने गुस्से को शांत करने का  तरीका होना चाहिए। जब भी गुस्सा आता है तो मैं वो जगह छोड़ देती हूं जहां पर ऐसी कोई बात हुई है जिसपर मुझे गुस्सा आया है। 

नवीन ने बताया कि कई बार इतना जोर से गुस्सा आता है जिस पर काबू पाना बहुत मुश्किल होता है। उस सिचुएशन में दिमाग भी काम नहीं करता है। ऐसे में उस जगह से उठकर कहीं चले जाना सबसे बेस्ट तरीका है। 

 

 

WhatsApp Group Join Now

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *