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पौधों को मरते हुए या मुरझाया हुआ देखना गार्डनर्स के लिए बहुत मुश्किल होता है। पौधों की लगातार केयर करने के बाद, रेगुलर पानी देने के बाद भी पौधे मुरझाने लगते हैं, या पत्ते पीले पड़ने शुरु हो जाते हैं, तो आपको इनका खास ख्याल रखने की जरुरत है।

गुड़हल का पौधा बहुत खुबसूरत होता है और ज्यादातर घरों में ये पौधा पाया जाता है। गुड़हल के पौधे की केयर करना आसान है, लेकिन बहुत बार ये भी मरने लगता है। आज का ये लेख गुड़हल के पौधों के बारे में हैं। इस लेख में हम आपको गुड़हल के पौधे की जानकारी देंगे की आपको इसका ध्यान किस प्रकार रखना है और इसके पत्ते पीले होकर झड़ रहे हैं, तो आपको क्या करना है?

पीले पत्ते होने का कारण

अगर आपके पौधे के पत्ते पीले होने लगें हैं और समय रहते आपने ध्यान नहीं दिया, तो ये पौधे के मरने का संकेत हैं। कुछ ही दिनों में आपके पौधे से फूल या फल आने बंद हो जाएंगे और पौधा पूरी तरह से खराब हो जाएगा।

ज्यादा पानी की वजह से

ज्यादा पानी देना भी पत्तों का पीला होने का कारण हो सकता है। अगर आप किसी पौधे में रेगुलर पानी डाल रहे हैं, तो ये उसकी जड़ों को सड़ा सकता है। इसलिए मिट्टी के सूखने पर ही पानी डालना उचित है। आपने अगर किसी गमले में आज पानी डाला है, तो दूसरे दिन उंगलियों से उसको चेक करें कि मिट्टी गीली है या नहीं। अगर आपकी उंगलियां मिट्टी में नीचे धस रही हैं, तो आप पानी न डालें।

धूप की वजह से

बहुत  बार आपके पौधे ज्यादा धूप में या कम धूप में रहने की वजह से भी खराब हो जाते हैं। गर्मियों में आपको सीधा धूप में फूलों के पौधों को नहीं रखना है। कुछ देर की धूप के बाद इनको छाया में रख सकते हैं। ज्यादा छाया में पौधों को रखना भी पत्तों को पीला कर सकता है। कुछ देर की धूप पौधों के लिए जरुरी है।

मिट्टी की वजह से

बहुत से लोग पौधों की रीपॉटिंग नहीं करते, जिसकी वजह से पीले पत्ते हो जाते हैं। अगर काफी समय किसी पौधे को एक गमले में हो गया है, तो आप उसको दूसरे गमले में लगाएं। गमले की मिट्टी में पोषक तत्वों की कमी हो जाती है। पौधे तक उचित पोषण पहुंचाने के लिए मिट्टी बहुत महत्वपूर्ण है।

खाद हो सकती है वजह

जहां तक कोशिश हो आप अपने पौधे में ऑर्गेनिक खाद का इस्तेमाल ही करें। बहुत बार खाद की ज्यादा मात्रा आपके पौधे को खत्म कर सकती है। बहुत बार सीधी मिट्टी में गोबर की खाद मिला देना भी हानिकारक हो सकता है। आप पौधे में कितनी खाद डाल रहे हैं और किस तरीके से डाल रहे हैं, इसके बारे में जानकारी होना बहुत जरुरी है।

गुड़हल के लिए घोल

एक बर्तन में एक लीटर नार्मल पानी लेना है, इसमें एप्सम सॉल्ट डालना है। एप्सम सॉल्ट डालने के बाद एक चम्मच NPK 00 00 50 और एक पैकेट कॉफी पाउडर डालकर पानी को  घोल लें। इस घोल को गुड़हल के पौधे की जड़ों में दो गिलास डालना है। इस घोल का इस्तेमाल आप हफ्ते में एक या दो बार कर सकते हैं।

गुड़हल के फायदे

  • गुड़हल के पौधे को काफी शुभ माना जाता है।
  • इसपर सुंदर लाल, गुलाबी, पीले रंग फूल आते हैं,
  • इसके फूल  देवताओं को अर्पित किए जाते हैं।
  • बालों की प्रॉब्लम के लिए भी गुड़हल काफी लाभकारी है।
  • गुड़हल के फूलों की चाय भी स्वास्थ्य को फायदा पहुंचाती है।
  • गुड़हल के फूलों का शरबत दिमाग से तनाव को दूर करता है
  • गुड़हल कोलेस्ट्राल का दुश्मन है।
  • गुड़हल की पत्तियों का नियमित रुप से सेवन शुगर रोगियों के लिए लाभकारी है।
  • गुड़हल में विटामिन सी होता है, जो सर्दी,खांसी में राहत देता है और इम्यूनिटी को मजबूत बनाता है।
  • गुड़हल की पत्तियों का पेस्ट सूजन और जलन को कम करता है।
  • महिलाओं में एनिमिया होने पर इसकी कलियों को सूखाकर पाउडर बनाकर रात में दूध के साथ पीना लाभकारी है।

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नोट- ये लेख सामान्य सूचनाओं पर आधारित है। आपको विषय पर ज्यादा जानकारी चाहिए, तो किसी विशेषज्ञ से भी संपर्क कर सकते हैं। अन्य किसी विषय पर सूचना प्राप्त करने के लिए कमेंट करके बता सकते हैं।

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